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हिमाचल नारी सभा करसोग में धुम-धाम के साथ मनाय गया अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस

  • लेखक की तस्वीर: ahtv desk
    ahtv desk
  • 8 मार्च 2020
  • 2 मिनट पठन

जोरशोर से उठई करसोग सिविल हस्पताल में महिला विशेषज्ञों की मांग

करसोग



अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस करसोग में धुमधाम के साथ आयोजित किया गया। इस कार्यक्रम में मुख्य अतिथि के तौर पर पंचायत समिति चैयरमेन चमेलु देवी कश्यप ने बतौर मुख्य अतिथि शीरकत की। कार्यक्रम का आयोजन हिमाचल नारी सभा द्वारा किया गया था जिसमें मुख्य तौर पर करसोग सिविल अस्पताल में महिला विशेषज्ञों की नियुक्ति, करसोग राजकीय महिला विद्यालय और स्कूलों के लिए अलग से विशेष महिला बस चलाने, नर्सरी से लेकर उच्च शिक्षा तक तमाम स्तरों पर लड़कियों की मुफ्त शिक्षा, महिलाओं के आर्थिक सशक्तिकरण के लिए लघु उद्योगों की स्थापना और प्रशिक्षण, लोकसभा और विधानसभा में महिलाओं के लिए 50 प्रतिशत आरक्षण की मांग मुख्य तौर पर उठाई गई। हालांकि मंडी प्रशासन द्वारा कोरोना वायरस के चलते मंडी जिले में सार्वजनिक आयोजन न करने के दिशा-निर्देश जारी किये गए थे।



कार्यक्रम में करसोग उपमंडल के महिला मंडलों ने मुख्य तौर पर शिरकत की और आगे की लड़ाकई के लिए हर पंचायत से महिलाओं को लेकर एक कमेटी का गठन किया गया। कमेटी में संगीता, रीना, चिंता देवी, सुभद्रा, शांति, रीना, पार्वती, तुनुजा, शांता, अंजना सहित 18 महिलाओं का नाम दर्ज किय गया है। उन्होंने उपरोक्त मांगों पर आखिरी तक संघर्ष करने का संकल्प लिया।

अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस की शुरूआत आस्ट्रीय, जर्मनी, स्वीटजरलेंड और रूस जैसे समाजवादी देशों ने 1911 में शुरू की थी जिसका उद्देश्य महिलाओं को समानता और बराबरी का अधिकार दिलवना था। इसकी जनक अंतर्राष्ट्रीय समाजवादी महिला आंदोलन की नेता कलारा जेट्किन को माना जाता है।

भारत में डा. भीमराव अमंबेडकर ने महिलाओं को समानता दिलाने के लिए महत्वपूर्ण भूमिका अदा की थी। उन्होंने संविधान में महिलाओं के लिए संपत्ति का अधिकार दर्ज करते हुए, हर वर्ग की महिलाओं को वोट का अधिकार और पैतृक संपत्ति में आधा हिस्सा का अधिकारी बनाया था।

प्रति शर्मा ने महिलाओं को संबोधित करते हुए कहा कि महिलाओं पर घरेलू हिंसा लगातार बढ़ रही है, महिलाओं को भ्रुण हत्या करने के लिए मजबूर किया जाता है। भारत के संविधान ने घरेलू हिंसा से बचाव के लिए कानूनी प्रावधान किये हैं जिनका इस्तेमाल महिलाओं को बेहिचक होकर करना चाहिए।

इस अवसर पर पंचायत समिति चैयरमेन चमेली देवी ने कहा कि महिलाओं की आवाज को पूरे देश के स्तर पर उठाने के लिए, हिमाचल की तर्ज पर लोकसभा और विधानसभा में भी पचास प्रतिशत आरक्षण का कानून लाया जाना चाहिए। सही मायनों में तभी महिलाओं को बराबरी मिल सकती है जब उनको राजनीतिक रूप से बराबरी का अधिकार प्रदान किया जाएगा।



इस मौके पर हिमचाल नारी सभा की सचिव सुषमा, करसोग नारी सभा की शांता देवी, जिला परिषद सदस्य श्याम सिंह चौहान, कृषि वैज्ञानिक नेकराम शर्मा, स्टेट बैंक ब्रांच मैनेजर शिमाल से मंशा राम, लोअर करसोग प्रधान मणि देवी, पूर्व प्रधान सेरी कमला देवी वर्मा, करसोग पुलिस कंसटेबल प्रति शर्मा, एसएफआई से संतोष कुमार ने भाग लिया।

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